तुम ओश में लिपटी साड़ी की तरह आ लिपटी मुझ से आचल की तराह भर लू तुजे मै आगोश मै भरे ना …
बिखरी जुल्फे आँखों में काजल ये बेबाक सी निगाहे उल्जनो से भरे अधर बस इन मे ही खोने क…
मैंने तुम से मोहब्बत की है तुमसे कोई व्यापार नही तुम दिल में रहती हो किसी घर में नही…
Bund Ki Tarah \ बूँद की तराह बारीश की बूँद की तराह तू मुझ पर आ बरसे मैं भीगी जमीन क…
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